चित्तौड़गढ़ जिला, जो खनिज संसाधनों से समृद्ध है, ने वित्तीय वर्ष 2024-25 में चुनौतियों के बावजूद सराहनीय राजस्व अर्जित किया है। सीमेंट उत्पादन में गिरावट और विपरीत परिस्थितियों के बीच भी खनिज विभाग ने उल्लेखनीय प्रदर्शन करते हुए कुल 148 करोड़ रुपये की आय प्राप्त की। यह आय निर्धारित लक्ष्य से केवल 3 करोड़ रुपये कम रही, जो विभाग की कार्यकुशलता और प्रबंधन की क्षमता को दर्शाता है। राज्य सरकार द्वारा निर्धारित लक्ष्यों के लगभग समकक्ष यह उपलब्धि इस बात का संकेत है कि चित्तौड़गढ़ खनिज संसाधनों के प्रबंधन में अग्रणी बना हुआ है। सीमेंट उत्पादन में आई गिरावट के बावजूद खनिज विभाग का यह प्रदर्शन न केवल आर्थिक दृष्टिकोण से महत्वपूर्ण है, बल्कि यह क्षेत्रीय विकास और औद्योगिक स्थिरता की दिशा में एक सकारात्मक संकेत भी माना जा रहा है। cement hub govt office earned 148 cr
चित्तौड़गढ़ सीमेंट हब होने के साथ ही यहां की आर्थिक रीढ़ भी है
चित्तौड़गढ़, जो सीमेंट उद्योग का हब है, यहां की आर्थिक रीढ़ के रूप में स्थापित है। इस जिले ने सीमेंट उद्योग के क्षेत्र में अपनी एक विशिष्ट पहचान बनाई है। सीमेंट उद्योग की शुरुआत 70 के दशक में हुई, जब बिरला सीमेंट फैक्ट्री की नींव रखी गई थी। इस फैक्ट्री की सफलता ने जिले में 15 और सीमेंट प्लांट्स की स्थापना को प्रेरित किया। इन फैक्ट्रियों ने न केवल लाखों लोगों को रोजगार प्रदान किया, बल्कि स्थानीय विकास की दिशा में भी महत्वपूर्ण योगदान दिया है। इस उद्योग ने चित्तौड़गढ़ के विकास को गति दी और यहां के लोगों की जीवनशैली को पूरी तरह से बदल दिया। आज, शहर का व्यापार, विकास और रोजगार इन सीमेंट फैक्ट्रियों के बिना अधूरा है, और इनका योगदान चित्तौड़गढ़ के समग्र विकास में अत्यधिक महत्वपूर्ण है।